
कर्ज मुक्ति के उपाय :-
यदि आपने किसी बैंक से लोन के रूप में धन लिया है अथवा किसी व्यक्ति से उधार के रूप धन लिया है और अगर आप अपना उधार लिए धन को चुकाने में परेशानी महसूस कर रहे थे तो इसका कारण या तो आपके पास पर्याप्त धन नहीं है अथवा धन के आकसिम्क व्यय हो जाने के कारण आप अपना कर्जा नहीं उतार पा रहे.
परन्तु क्या आप जानते इन सब के पीछे केवल धन का अभाव ही नहीं बल्कि ग्रह एवम नक्षत्रो से जुडी समस्या भी हो सकती है. ग्रहो के चालो के बदलने के कारण आप धन से सम्बन्धित समस्याओ का सामना कर रहे थे.
परन्तु हर समस्या का कोई ना कोई हल जरूर होता है और हमारे प्राचीन ज्ञान के भंडार ग्रन्थों एवम शास्त्रो में एक महत्वपूर्ण शास्त्र विधा है ज्योतिष शास्त्र, जिसमे हर एक समस्या का अचूक उपाय है.
ज्योतिष शास्त्रो में वर्णित कर्ज मुक्ति से सम्बन्धित पांच ऐसे मंत्रो का वर्णन किया गया जो वास्तव में कारगर है तथा जिनसे कर्ज मुक्ति की समस्या से छुटकारा प्राप्त किया जा सकता है.
ये मन्त्र आपके कुंडली के क्रूर ग्रहो को शांत कर आपके दुर्भाग्य को दूर करता है, तथा आपके भाग्य एवम ग्रहो की दशा को आपके अनुकूल बनाता है.
कर्ज मुक्ति के लिए श्रीलक्ष्मी गायत्री मंत्र ‘ओम ह्रीं महालक्ष्मी च विद्महे विष्णुपत्नीं च धीमहि तन्नो लक्ष्मीः प्रचोदयात् ह्रीं ओम, का जप भी बहुत लाभप्रद माना गया है. इस मन्त्र के जप का विधान यह है की व्यक्ति को कमल गट्टे की माला से नियमित 1008 बार जप करना चाहिए.
‘ओम आं ह्रीं क्रौं श्रीं श्रियै नमः ममालक्ष्मीं नाशय नाशय ममृणोत्तीर्णं कुरु कुरु संपदं वर्धय वर्धय स्वाहा ‘ शास्त्रो के अनुसार इस मन्त्र का 44 दिन तक, दस हजार बार जप धन लाभ में सहायक होता है.
ऋण मुक्ति के लिए के लिए नियमित ऋण मुक्ति गणेश स्तोत्र का पाठ लाभदायक मान गया है. अपनी सुविधा के अनुसार इसका पाठ कभी भी कर सकते हैं.
प्रत्येक मंगलवार ऋण मोचक मंगल स्रोत का पाठ ऋण से मुक्ति पाने के लिए अत्यंत लाभदायक माना गया है.
आदिगुरु शंकराचार्य द्वारा रचित कनकधारा स्रोत धन की बढ़ा को दूर करने के लिए अत्यंत लाभदायक माना गया है. ऋण से मुक्ति प्राप्त करने के लिए इनका पाठ अत्यंत लाभदायक होता है.